उत्तराखंड को Railway Budget में 4,641 करोड़ का आवंटन, 11 अमृत स्टेशन का भी तोहफा

देहरादून। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से Railway Budget के संदर्भ में जानकारियां दीं। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का…

Railway Budget

देहरादून। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से Railway Budget के संदर्भ में जानकारियां दीं। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि इस बार रेलवे को 2 लाख 52 हजार करोड़ रुपए का बजट आवंटन किया गया है। इस आवंटन के लिए उन्होंने केंद्रीय वित्त मंत्री का भी आभार जताया। उन्होंने कहा कि बजट आवंटन का लाभ उत्तराखंड को भी मिलेगा। उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि उत्तराखंड को 2025-26 के बजट में विभिन्न रेल परियोजनाओं के लिए 4,641 करोड़ का आवंटन हुआ है। इस बजट से उत्तराखंड में रेल नेटवर्क को सुदृढ़ किया जाएगा।

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Railway Budget चार धाम के लिए केंद्र सरकार की अति महत्वाकांक्षी ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना

रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने चार धाम के लिए केंद्र सरकार की अति महत्वाकांक्षी ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना की जानकारी देते हुए बताया कि इस 125 किलोमीटर की परियोजना का 49 प्रतिशत काम पूरा कर लिया गया है, जिसकी कुल लागत 24 हजार 659 करोड़ रुपए है। यह सरकार की अति महत्वाकांक्षी परियोजना है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में देवबंद-रूड़की रेल लाइन का 96 प्रतिशत कार्य पूरा हो गया है, जिसकी कुल लागत 1,053 करोड़ रुपए है और यह रेल लाइन 27.5 किलोमीटर की है। वहीं, 63 किलोमीटर की किच्छा-खटीमा रेल लाइन परियोजना 228 करोड़ रुपए की लागत से बनेगी। उत्तराखंड में 2014 से 2025 तक 69 किमी के नए रेल ट्रैक बिछाए गए हैं। साथ ही इसी अवधि में 303 किमी की रेल लाइनों का विद्युतीकरण किया गया है। 2009-14 के बीच यह आंकड़ा शून्य था।

 

Railway Budget 11 स्टेशनों को 147 करोड़ की लागत से अमृत स्टेशनों के रूप में विकसित किया जा रहा

आज प्रदेश की हर रेलवे लाइन बिजलीयुक्त है। फिलहाल राज्य में 216 किमी की तीन रेल परियोजनाओं (रेलवे ट्रैक) का काम चल रहा है, जिसकी लागत 25,941 करोड़ रुपए है। साथ ही देहरादून, हरिद्वार जंक्शन, हर्रावाला, काशीपुर जंक्शन, काठगोदाम, किच्छा, कोटद्वार, लालकुआं जंक्शन, रामनगर, रुड़की और टनकपुर सहित 11 स्टेशनों को 147 करोड़ की लागत से अमृत स्टेशनों के रूप में विकसित किया जा रहा है। उन्होंने रेलवे में सुरक्षा के दृष्टिगत कवच प्रणाली के बारे में बताया कि प्रदेश में 49 रूट किलोमीटर के लिए कवच प्रणाली की संस्तुति है। इसके अलावा 2014 से अब तक प्रदेश में 100 रेल फ्लाईओवर और अंडर ब्रिज का निर्माण किया जा चुका है। यात्रियों के लिए स्टेशनों पर छह लिफ्ट, 14 एस्केलेटर का निर्माण किया गया है और 31 स्टेशनों पर वाईफाई की सुविधा यात्रियों के लिए उपलब्ध है। इसके अलावा राज्य में दो वंदे भारत ट्रेन सफलतापूर्वक सेवाएं दे रही हैं।

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