बेंगलुरू – Rashtriya Swayamsevak Sangh (RSS) के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले ने आज कहा कि क्या औरंगजेब भारत के लोगों के लिए आइकॉन हो सकता है। औरंगजेब ने जो किया इसके लिए उसको आइकॉन नहीं मानना चाहिए। देश का आइकॉन कोई बाहरी होगा या फिर कोई और इस पर चिंतन की जरूरत है।
औरंगजेब आज प्रासंगिक नहींः Rashtriya Swayamsevak Sangh
आज RSS की अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की तीन दिवसीय बैठक का आखिरी दिन है। प्रेस कांफ्रेंस में होसबाले ने कर्नाटक में सरकारी कॉन्ट्रैक्ट में 4% मुस्लिम आरक्षण पर भी सवाल उठाया।उन्होंने कहा- डॉ. भीमराव अंबेडकर के लिखित संविधान में धर्म आधारित आरक्षण स्वीकार नहीं किया गया है।
Rashtriya Swayamsevak Sangh डॉ. भीमराव अंबेडकर के लिखित संविधान में धर्म आधारित आरक्षण स्वीकार नहीं किया गया
जो लोग गंगा जमुनी तहज़ीब की बात करते हैं उनको ये सोचना चहिए की वो अपना आइकॉन औरंगजेब को मानते हैं या दारा शिकोह को? स्वतंत्रता की लड़ाई सिर्फ अंग्रेज़ों से बस नहीं लड़ी गई, शिवाजी और महाराणा प्रताप ने भी मुगलों से स्वतंत्रता की लड़ाई लड़ी थी. वो भी स्वतंत्रता संग्राम था. देश के लोगों को तय करना है की उनको अपना आइकॉन औरंगजेब को मानते हैं या दारा शिकोह को?