नई दिल्ली। भारत के छोटे- छोटे गांवों और कस्बों में पढ़ने और अर्थपूर्ण चर्चा की परंपरा विकसित करने के लिए PM Modi ने एक बेहतरीन विचार दिया है। पुरानी पुस्तकों, पत्रिकाओं और समाचार पत्रों के नए तरह के उपयोग से इन स्थानों के लोगों की बौद्धिकता बढ़ेगी और राष्ट्र के विकास में मदद मिलेगी।
केंद्रीय मंत्री सतीश चंद्र दुबे ने सोमवार को एक्स पर PM Modi स्टोरी हैंडल के जरिये एक वीडियो साझा किया। इसमें संसद सदस्यों के साथ मुलाकात के अवसर पर पीएम मोदी ने एक बार पढ़े जाने के बाद कबाड़ के रूप में देखी जाने वाली पुस्तकों, पत्रिकाओं और समाचार पत्रों की असीमित शक्ति का विचार पेश किया।
PM Modi ने की सामुदायिक पुस्तकालय बनने की पहल
वीडियो में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि इन पुस्तकों – पत्र-पत्रिकाओं आदि का उपयोग छोटे सामुदायिक पुस्तकालय बनाने में किया जा सकता है। विशेषरूप से उन स्थानों पर जहां पुस्तकों आदि तक पहुंच बेहद सीमित है।