शिक्षा से सुसज्जित होकर ही देश की सेवा की जा सकती है। हाफिज इरफान
शहीद ए बगदाद को पेश की गई खिराज ए अक़ीदत
सहसवान।मदरसा इस्लाहुल-मुस्लिमीन, मोहल्ला नवादा सहसवान के छात्र सलाउद्दीन इब्ने इक़रार अहमद ने पवित्र कुरान को याद (हाफ़िज़ा) कर लिया। इस अवसर पर, एक सुंदर सभा का आयोजन किया गया। अंतिम पृष्ठ सबक़ सुना कर और दुआ ख़तमुल-कुरान के साथ प्रदेश देश की शांति खुशहाली उन्नति की दुआ की गयी।
इस अवसर पर मौलाना अब्दुल कादिर साहब और मौलाना फरीद अहमद मिस्बाही साहब ने पवित्र कुरान की खूबियों और पवित्र कुरान के नियमों के बारे में विस्तार से बताया।
अंत में मदरसे के अध्यक्ष एवं सामाजिक कार्यकर्ता एवं समाजवादी पार्टी के अल्पसंख्यक सभा के सचिव हाफ़िज़ इरफ़ान साहब ने भाषण दिया और शिक्षक कारी अब्दुल हादी, कारी राशिद हुसैन की मेहनत का नतीजा बताया और सभी अतिथियों को मदरसे में आने के लिए धन्यवाद दिया .उन्होंने इस युग में शिक्षा की आवश्यकता पर विशेष संबोधन देते हुए कहा कि शिक्षा से सुसज्जित होकर ही देश की सेवा की जा सकती है।उन्होंने शहीद ए बग़दाद शेख उसेदुलहक आसिमुल का़दरी बदायुनी की दसवीं बरसी पर उनको खिराज ए अक़ीदत पेश करते हुए कहा कि जब इल्म और तक़वा हद ए उरूज को पहुंचता है, तब शख़्ससियत ज़माना शेख साहब पुकारता है। ये हमारे मदरसों की कामयाबी है।इस मुबारक जलसे में कारी रईस, कारी शाहिद रजा, हाफिज अजीम, हाजी अखलाक साहब, अहमद रजा सैफी आदि शामिल हुए।