आपराधउत्तर प्रदेश

शहर की एक निजी प्राइवेट लैब संचालक द्धारा डेंगू की जांच रिपोर्ट बार-बार गलत देने के आरोप मे परिजनों ने काटा हंगामा, पुलिस ने कराया समझौता,

प्राइवेट लैब पर पहली जांच करायी जहां उसकी प्लेटलेट 80 हजार बतायी गयी। दूसरे दिन फिर रिपोर्ट करायी तब 60 हजार और मंगलवार को करायी रिपोर्ट में 30 हजार प्लेटलेट बतायी गयी।

शहर की एक निजी प्राइवेट लैब संचालक द्धारा डेंगू की जांच रिपोर्ट बार-बार गलत देने के आरोप मे परिजनों ने काटा हंगामा, पुलिस ने कराया समझौता,

जयकिशन सैनी (समर इंडिया)

बदायूँ। आए दिन निजी प्राईवेट लैब संचालक डेंगू की आड मे जनमानस की जिंदगी से खिलबाड कर रहे है। ऐसा ही एक मामला सामने आया है। एक युवक को चार दिन से बुखार आ रहा था। उसकी शहर में मौकूलाल पुलिस चौकी के समीप एक प्राइवेट लैब पर पहली जांच करायी जहां उसकी प्लेटलेट 80 हजार बतायी गयी। दूसरे दिन फिर रिपोर्ट करायी तब 60 हजार और मंगलवार को करायी रिपोर्ट में 30 हजार प्लेटलेट बतायी गयी। वहीं डाक्टर ने दूसरी लैब पर जांच कराने को कहा जहां अलग-अलग दो लैबों की जांच में 80 हजार प्लेटलेट आयी। जिसकी शिकायत परिजनों ने लैब संखलक से आकर की तो वह अपनी गलती मानने को तैयार नहीं हुआ जिससे हंगामा खड़ा हो गया। शोरगुल सुनकर भीड़ लग गयी। सूचना पर पुलिस भी मौके पर पहुंची गयी। पुलिस ने दोनों पक्षों को समझा-बुझाकर शांत किया। परिजन शान्त हो कर घर चले गये।

कोतवाली सिविल लाइंस क्षेत्र के रेलवे कॉलोनी निवासी शिवम सिंह पुत्र जगपाल सिंह को तेज बुखार आया तो परिजन उसको निजी डाक्टर के यहां भर्ती कराया गया। बुखार आने के बाद उसकी डेंगू की जांच शहर की एक प्राइवेट लैब पर करायी जिसमें पहली रिपोर्ट में 80 हजार प्लेटलेट बतायी गयी। दूसरे दिन 60 हजार और तीसरे दिन 30 हजार बतायी तो डाक्टर ने दूसरी लैब पर जांच करायी जहां 80 हजार प्लेटलेट बताया गयी। परिजनों ने तीसरी जगह करायी वहां भी 80 हजार बतायी गयी। इसकी शिकायत करने परिजन लैब पर पहुंचे तो लैब संचालक गलती मानने की बजाय परिजनों पर ही नाराज होने लगा। इस बात पर परिजनों का पारा चढ़ और हंगामा करने लगे। शोर सुनकर तमाम लोग जाम हो गये। सूचना पहुंची चाकी पुलिस ने मामले की जानकारी की और दोनो पक्षों को समझाकर शान्त किया।

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